लुधियाना: पिछले कुछ समय से देश के कई हिस्सों में भारी बारिश का असर देखने को मिल रहा है। उत्तराखंड, हिमाचल, उत्तरप्रदेश, जम्मू कश्मीर जैसे अन्य राज्यों में पानी का भयानक रूप लोगों और प्रसाशन की चिंता बढ़ा रहा है। इस सबके चलते पंजाब में भी कुछ इलाकों में ऐसी ही स्थिति बनती जा रही है। पंजाब में ब्यास और सतलुज जैसी बड़ी नदियों में भी जलस्तर बढ़ गया है। इसी कारण कपूरथला जिले और मोगा जिले में कई गाँवों में इस सबका असर पड़ने लगा है। कपूरथला और मोगा के अलावा होशियारपुर, फाजिल्का, फिरोजपुर और तरनतारन जिलों के गांव में भी नदियों के जलस्तर का प्रभाव दिखाई देने लगा हैं। ब्यास नदी भी उफान पर है। भारी बारिश के कारण काफी ज्यादा नुकसान की खबरें भी सामने आने लगी हैं। किसानों की फसल डूब रही है, जिसके चलते किसानों को पिछले साल जैसी तबाही की आशंका सता रही है।
मिडिया के प्लेटफार्म में बताया जा रहा है कि मोगा जिले में धर्मकोट इलाके के संघेड़ा, कंबो खुर्द और सेरेवाला समेत करीब 30 गांव पानी की चपेट में आ चुके हैं। इलाके में बढ़ते जा रहे पानी के कारण ग्रामीणों के सामने बड़ी मुश्किलें खड़ी हो गई हैं। लोग दिन-रात जागकर घरों और पशुओं को सुरक्षित रखने की कोशिश कर रहे हैं। लेकिन अगर पानी और बढ़ा, तो हालात बिगड़ सकते हैं। सबसे बड़ी दिक्कत यह भी है कि पशुओं का चारा पानी में डूब चुका है, जिससे ग्रामीणों को पशुओं के लिए चारे का इंतजाम करने में भारी परेशानी आ रही है।
इस सबको देखते हुए जिला प्रशासन की टीमें प्रभावित क्षेत्रों का दौरा कर स्थिति का जायजा ले रही हैं। प्रशासन विस्थापित लोगों के लिए रहने, खाने, साफ पीने का पानी, दवाइयां और पशुओं के चारे की व्यवस्था करने में जुटा हुआ है। प्रभावित इलाकों में हालात को देखते हुए निगरानी टीमें भी 24 घंटे सक्रिय है।